*|| भगवद् गीता विचार ||* विषयों का चिन्तन करने वाले पुरुष की उन विषयों में आसक्ति हो जाती है, आसक्ति से उन विषयों की कामना उत्पन्न होती है और कामना में विघ्न पड़ने से क्रोध उत्पन्न होता है। *अध्याय- 2 श्लोक- 62* Download Bhagavad Gita App https://ift.tt/3z4eh4x
 
 
          
      
 
  
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
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